हरिद्वार: न्याय की आस में ठगी की शिकार हुई पीड़िता की मां
हरिद्वार के बहादराबाद थाना क्षेत्र में एक सनसनीखेज मामला सामने आया है। यहां एक कथित भीम आर्मी नेता ने न्याय दिलाने के नाम पर मृतका की मां से 3.20 लाख रुपये ठग लिए। पुलिस ने इस मामले में आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है और उसकी तलाश जारी है।
क्या था पूरा मामला?
24 जून 2024 को उत्तराखंड के शांतरशाह क्षेत्र में एक नाबालिग लड़की का शव संदिग्ध हालत में मिला था। पुलिस जांच में खुलासा हुआ कि उसके साथ सामूहिक दुष्कर्म के बाद हत्या कर दी गई थी। इस दर्दनाक घटना के बाद पुलिस ने सात आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था।
सरकार की ओर से मिली सहायता राशि
घटना के बाद राज्य सरकार ने मृतका के परिवार को 8 लाख रुपये की सहायता राशि प्रदान की थी। लेकिन इस घटना के बाद कई ठग सक्रिय हो गए और पीड़िता की मां को झूठे आश्वासन देने लगे। इसी बीच एक कथित भीम आर्मी नेता नीरज ने उन्हें न्याय दिलाने के नाम पर ठग लिया।
नेता ने किस तरह ठगा?
नीरज ने पीड़िता की मां से संपर्क कर भरोसा दिलाया कि वह मामले में दबाव बनाकर आरोपियों को कड़ी सजा दिलवा सकता है। उसने इसके लिए 3.20 लाख रुपये मांगे। न्याय की आस में पीड़िता की मां ने यह राशि उसे दे दी। कुछ समय बाद जब उन्होंने पैसे वापस मांगे, तो आरोपी धमकी देने लगा।
पीड़िता की मां ने की शिकायत
आरोपी की धमकियों से परेशान होकर मृतका की मां ने बहादराबाद थाना पुलिस को शिकायत दी। शिकायत के आधार पर पुलिस ने आरोपी के खिलाफ धोखाधड़ी सहित अन्य प्रभावी धाराओं में मामला दर्ज किया है।
पुलिस की कार्रवाई और जांच
हरिद्वार एसएसपी के निर्देश पर पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए आरोपी की तलाश शुरू कर दी है। पुलिस का दावा है कि आरोपी को जल्द ही गिरफ्तार किया जाएगा और उस पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
न्याय की गुहार
पीड़िता का परिवार पहले ही एक बड़ी त्रासदी से गुजर चुका है। बेटी के साथ हुए अपराध के बाद न्याय पाने की कोशिश में उनके साथ ठगी होना उनकी पीड़ा को और गहरा कर गया है। अब वे न्याय व्यवस्था से उम्मीद लगाए बैठे हैं कि न केवल आरोपी को कड़ी सजा मिले, बल्कि उन्हें उनकी ठगी गई रकम भी वापस मिले।
समाज को सतर्क रहने की जरूरत
यह मामला बताता है कि किस तरह अपराध के शिकार हुए परिवारों को फिर से ठगा जा सकता है। ऐसे में समाज को सतर्क रहने और ठगों से बचने की आवश्यकता है। पुलिस भी ऐसे मामलों में सतर्कता बढ़ाने की अपील कर रही है ताकि पीड़ित परिवारों को दोहरी पीड़ा से बचाया जा सके।